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-Har Ek Ne Rakha Mujhe Zaroorat Ki Mayar Par
Lekiin
Chorrh Woh Bhi Geya Jeeta Tha Jisey Saanson Ko Haar Kar .. ‘



कुछ नहीं होगा तो आँचल में छुपा लेगी मुझे,
माँ कभी सर पे खुली छत नहीं रहने देगी !

याद आती है अब भी उनकी हमें हद से ज्यादा..
मगर वो याद ही नही करते तो हम क्या करें

उसे किस्मत समझ कर गले से लगाया था हमने,
पर भूल गए थे हम किस्मत बदलते देर नही लगती


शायरी शौक नही, और नाही कारोबार है मेरा,
बस दर्द जब सह नही पाता, तो लिख देता हूँ

हम जिस्म को नही रूह को
वश मे करने का शोक रखते है


हाँ मैं डरता हूँ कहने से , कि मुझे मुहब्बत है तुमसे ,

मेरी जिंदगी बदल देगा , तेरा इकरार भी इनकार भी ….


Jane Aisi Bhi Kia Dil Lagi Thi Tum Se,

Main Ne Aakhri Khwahish Mein Bhi Tumhari Mohabbat Mangi…


Maqam-E-Mohabbat Tum Ne Samjha Hi Nahin…

Jahan Tak Tera Saath Wahin Tak Meri Zindagi ____!!


नही हो सकती ये महौब्बत तेरे सिवा किसी और से…
बस इतनी सी ही बात है…समजते क्यों नही..

Mera kaarnama-e-zindagi meri hasraton ke siwa kuch nahi…

Yeh kiya nahi, woh hua nahin, yeh mila nahi, woh raha nahi….


Ab to shayed hi mujhse mohabbat kare koi,

Meri ankhon mein tum saaf nazar aate ho..