जब जरुरत के समय काम आने वाला पैसा बदल सकता है …. तो तू क्या चीज है…
कुछ नहीं होगा तो आँचल में छुपा लेगी मुझे, माँ कभी सर पे खुली छत नहीं रहने देगी !
Soch rakhi han buhat si batein tumahin sunany ko Tum ho y aaty hi nahi hamein manaany kay liye…!!!
जुबां कह न पाई मगर आँखे बोलती ही रही. कि मुझे सांसो से पहले तेरी जरूरत है.
यहाँ मेरा कोई अपना नहीं है….. . …..चलो अच्छा है कुछ ख़तरा नहीं है !!
इक झलक जो मुझे आज तेरी मिल गयी मुझे फिर से आज जीने की वजह मिल गयी
~Mere Dil Meiin Ziiada Der Tak Rehta Nahi Koi, Log Kehte Hain Mere Dil Meiin Saya Haii Tera .. ‘
जाने कब आँख लगी, यादों के दीये जलते रहे, रोशनी घुलती रही, ख्वाबों में तेरी महक आई है !
जरूरी नही हर ख्वाब पूरा हो… सोचा तो उसे ही जाता है जो अधूरा हो….”
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