में किसी ओर का नहीं हु फिलहाल
.. कोई तो मेरी हो जाओ
हर बार हम पर इल्जाम लगा देते हो मोहब्बत का….!! कभी खुद से भी पूछा है इतनी खुबसूरत क्यों हो….!!
बाहुबली की हत्या देखकर भयभीत हुआ बालक… बोला… ‘छुट्टियों में नहीं जाऊंगा मामा के घर’
मत चाहो किसी को इतना टूटकर ज़िन्दगी में, अगर बिछङ गये तो हर एक अदा तंग करेगी!!
मुझे फर्क नहीं पता अपनो और गैरो का, हर कोई हँसा है मुझे रोता देखकर
~Meiin Tumharii Woh Yaad Hoon, Jisey Tum Aksar Bhool Jatey Ho ..’
तुम चलो तो ये ज़मीं साथ दे ये आसमान साथ दे हम चले तो साया भी साथ ना दे
Jee karta hai muft me hi use apni jaan de du, Itne masoom kharid’dar se kya len-den karna…
गलती उनकी नहीं कसूरवार मेरी गरीबी थी दोस्तों, हम अपनी औकात भूलकर बड़े लोगों से दिल लगा बैठे.
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