Sub Categories

यकीन नहीं होता फिर भी कर लेता हूँ…!!!
.
.
जहाँ इतने हुए..एक और फरेब हो जाने दो…!!!



जिंदगी मैं कितना भी समेट लो..
मगर हाथों से फिसलता ज़रूर है..
ये वक्त है साहब..
एक ना एक बदलता तो ज़रूर है..

नसीहत देता हूँ इसका मतलब ये नही…..
मैं समझदार हुँ….
बस हमने गलतिया आपसे ज्यादा की है।

मुझे फर्क नहीं पता अपनो और गैरो का,
हर कोई हँसा है मुझे रोता देखकर


*बेनाम ही रख ले अपना रिश्ता……*
*नाम देंगे तो दुनिया बदनाम कर देगी…..!!*

बहुत खूब कहा है किसी ने
जी लो हर पल को वरना ना जिदगी रहेगी और ना ही पल


इंतेजार भी कितनी अजीब चीज हे ना खुद करे तो,
गुस्सा आता है, और.. दूसरा कोई करे तो अच्छा लगता है।


ਤਾਂਤ੍ਰਿਕ – ਬੇਟਾ ਤੇਰੇ ਸਿਰ ਕਿਸੇ ਚੁੜੇਲ ਦਾ ਸਾਇਆ ਹੈ। .
ਮੁੰਡਾ – ਮੈਂ ਤੇਰੇ ਚਪੇੜਾਂ ਮਾਰਨੀਆਂ ਸਾਲਿਆ, ਸਹੇਲੀ ਆ ਓ ਮੇਰੀ।

ਕਣ-ਕਣ ਅੰਦਰ ਬਾਬਾ ਨਾਨਕ„
ਹਰ ਦਰ ਅੰਦਰ ਬਾਬਾ ਨਾਨਕ„
ਹਵਾਵਾਂ ਅੰਦਰ ਬਾਬਾ ਨਾਨਕ„
ਸਾਹਾਂ ਅੰਦਰ ਬਾਬਾ ਨਾਨਕ„
ਕਿੱਧਰ ਲੱਭਦਾ ਫਿਰਦਾ ਬੰਦਿਅਾ„
ਤੇਰੇ ਮੰਨ ਦੇ ਅੰਦਰ ਬਾਬਾ ਨਾਨਕ..

ਅੱਜ ਕੱਲ ਜੰਨਤਾ ਰਜਾਈ ਵਿੱਚ ਆਪਣੇ
ਮੋਬਾਇਲ ਨੂੰ ਆਪਣੇ ਨਾਲ ਏਦਾਂ ਸਵਾਉਂਦੀ ਆ ..
.
ਜਿੱਦਾਂ .. . . ?
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
.
ਮਾਂ ਆਪਣੇ ਪੁੱਤ ਨੂੰ . .


सियासत गरीबों पर ,
कुछ इस तरह
एहसान करती है
;कि आँखें छीन लेती है और चश्मे दान
करती है ।


जिंदगी भी अजीब है जैसे जैसे कम हो रही है
वैसे वैसे ज्यादा पसंद आती जा रही है…!!

*सादे लफ्ज़,*
*कहाँ इतना असर करते है…*
*अब ये ना सोचना की हम शायर,*
*कोई नशा करते है……..


तुम्हे क्या पता किस “दर्द” मे हूँ मैं !
जो कभी लिया ही नही,उस “कर्ज़” मे हूँ मैं

शायद मुझे सुकून तेरे पास ही मिले…
मुझको गले लगा बहुत बेक़रार हूँ……..

“क्या लिखूँ अपनी जिंदगी के बारे में दोस्तो,
‪वो‬ लोग ही बिछड़ गए जो जिंदगी हुआ करते थे !!”