मैंने अपनी हर एक सांस तुम्हारी गुलाम कर रखी है,
लोगो में ये ज़िन्दगी बदनाम कर रखी है,
अब ये आइना भी किस काम का मेरे,
मैंने तो अपनी परछाई भी तुम्हारे नाम कर रखी है.
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~Izhaar’E-Yaad Karoon Yaah Puchoon Haal’E-Dil Un Ka Aye Dil Kuch Toh Bahana Bata Un Sey Baat Karnay Ka .. ‘
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Very nice