जिन्दगी में सताने वाले भी अपने थे, और दफनाने वाले भी अपने थे.
सलीक़ा हो अगर भीगी हुई आँखों को पढने का,😓❤ तो फिर बहते हुए आंसू भी अक्सर बात करते हैं
तुम्हारा जिक्र ,तुम्हारी फिक्र, तुम्हारा एहसास… तुम खुदा नहीं फिर, हर जगह मौजूद क्यों हो
तू मुझसे मिलने कभी नक़ाबों मे ही आ ! ख़ुद न मुमकिन तो ख़्वाबों मे ही आ !!
मेरे दर्द को रोज सुनते हो आप, आज आप कुछ लिखो मैं सुनूंगा
जिस शख्स के लिए मुझे ठुकरा गए थे तुम, मैंने सूना है कि वो भी तुम्हारा नहीं हुआ !!
फेसबुक पर विचारो का चुराना आम बात है कम ही है जो खुद के विचार रखते हैं
Koi Aisa Ho Jo Galay Laga Kar Kahe Teri Dard Se Mujhe Bhi Takleef Hoti Hai…
उसको भूल जाने की कसम तो खाता हूँ मैं, फिर टपक पड़ते है आँसूं और कसम टूट जाती है !!
Your email address will not be published. Required fields are marked *
Comment *
Name *
Email *