~Unka Ishq Chaand Jaisa Tha .. Poora Hua Toh Ghatne Lga .. ‘
भूख तो एक रोटी से भी मिट जाती माँ, अगर थाली की वो एक रोटी तेरे हाथ की होती
बड़ी बारीक़ी से पढ़ लेते है वो ख़ामोशी मेरी, बार बार यू मुझे अपना बनाना उन्हें बख़ूबी आता है।।
बड़े अजीब से हो गए रिश्ते आजकल.. सब फुरसत में हैं पर वक़्त किसी के पास नही
Mahobaat agar chehra dekh kar hoti , to yakeen mano tumhse na hoti
हमने तो एक ही शख्स पर चाहत ख़त्म कर दी .. अब मोहब्बत किसे कहते है मालूम नहीं..
ये सोच के नज़रें मिलाता ही नहीं कि आँखें कहीं ज़ज्बात का इज़हार न कर दें :))
कौन कहता है …, रब नज़र नहीं आता वही नज़र आता है.., जब नज़र कुछ नहीं आता….
Mat baha aansoo beqadron k liye jo qadar karte hein wo kabi rone nahi deite”.
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