वो जो मुझे हँसते हुए देख कर खुश समझते हैं , वो अभी मुझे समझे नहीं।
जरा तो शर्म करती तू पगली. मुहब्ब्त चुप चुप के और नफरत सरे आम.
Chaand Badal main Acha Lagta Hai Tum Adhay Rukh Pe Naqab Rehnay Do….!
किसी ने धूल क्या झोंकी आखों में, पहले से बेहतर दिखने लगा है.
हमसे मोहब्बत का दिखावा न किया कर, हमे मालुम है तेरे वफा की डिगरी फर्जी है
कौन कहता है की वक्त बहोत तेज है •• कभी किसीका इंतजार तो करके देखो..
हजारों अश्क़ मेरी आँखों की हिरासत में थे, फिर उसकी याद आई और इन्हें जमानत मिल गई
हर बार किस्मत को दोष देना अच्छी बात नही कभी-कभी हम भी हद से ज्यादा माँग लेते है
मेरे विचार से झूठा वादा करने से विनम्र इन्कार करना अच्छा है
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