मैंने वहा भी तुझे मांगा हैं जहाँ लोग खुशी मांगते हैं….
जिन्हें प्यार नहीं रुलाता उन्हें प्यार की निशानियाँ रुला देती हैं.
एक तो सुकुन और एक तुम, कहाँ रहते हो आजकल मिलते ही नही.
जितनी हसीन ये मुलाकातें है उससे भी प्यारी तेरी बातें है
एम्बुलेंस सा हो गया है ये जिस्म, सारा दिन घायल दिल को लिये फिरता है।
~Umar Bhar Rahugi Gulam Haii Koi Jo Us Sa Mila De .. ‘
काजल ज़रूरी है तुम्हारी आँखों को, मेरी आँखों को डूबने की हद्द पता रहती है..
सुख मेरा, काँच सा था.. ना जाने कितनों को चुभ गया..!!
आँखों के अंदाज़ बदल जाते हैं जब कभी हम उनके सामने जाते हैं
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