शाख से फूल तोड़कर मैंने सीखा.. अच्छा होना गुनाह है, इस जहाँ में..!!
हम जो तेरे बगैर ज़िंदा है, सब दिखावा है दुनिया के लिए !!
मुझे महोब्बत है तेरे मन से.. न तेरी खूबसूरती से न लिबास से..
काजल ज़रूरी है तुम्हारी आँखों को, मेरी आँखों को डूबने की हद्द पता रहती है..
-Tu Zaroori Sa Haii Mujhko Ziinda Rehney Ke Liiye ..
कभी तू नाराज़ कभी मैं नाराज़.. उफ्फ ये मोहब्बत उफ्फ ये अंदाज़…
..है एक कर्ज़ जो हरदम सवार रहता है । …वो मम्मी पापा का प्यार है जो सब पर उधार रहता Continue Reading..
सुख मेरा, काँच सा था.. ना जाने कितनों को चुभ गया..!!
वो बड़े घर की थी साहब, . छोटे से दिल में कैसे रहती.
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